रायपुर। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने आज नवा रायपुर स्थित अरण्य भवन में विभिन्न वनमण्डलों के स्व-सहायता समूहों द्वारा वनोपजों से तैयार विभिन्न उत्पादों का अवलोकन किया और सराहा। जशपुर, कवर्धा, सूरजपुर वनमण्डलों के स्व-सहायता समूहों के उत्पादों में लाख से बनी चूड़ियां, जशपुर की चाय, शहद, च्यवनप्राश, विभिन्न वनौषधियों, जैविक चावल और जैविक उत्पादों आदि की प्रदर्शनी लगाई गई थी।जशपुर वनमंडल की वनप्रबंधन समिति सारुडीह, मरवाही वनमंडल के दानीकुंडी समिति, वन-धन स्व-सहायता समूह दानीकुंडी, सूरजपुर वनमण्डल, कवर्धा वनमण्डल की कुकदूर वन समिति द्वारा स्टॉल लगाए गए थे। झिटकू-मिटकू वन हस्तशिल्प कला समिति रायपुर के स्टॉल में बेलमेटल और लौहशिल्प की कलाकृतियां रखी गयी थी। मुख्यमंत्री स्टॉलों पर उत्पादों के संबंध में समूह के सदस्यों से जानकारी भी ली।आदिमजाति विकास मंत्री डॉ. प्रेमसाय सिंह, मुख्यमंत्री के सलाहकार द्वय प्रदीप शर्मा और विनोद वर्मा, वन विभाग के प्रमुख सचिव मनोज कुमार पिंगुआ, प्रधान मुख्य वन संरक्षक राकेश चतुर्वेदी सहित स्व-सहायता समूहों के सदस्य इस अवसर पर उपस्थित थे। मुख्यमंत्री ‘वन आधारित जलवायु सक्षम आजीविका की दिशा में क्रांतिकारी बदलाव‘ विषय पर आयोजित एक दिवसीय परिचर्चा में शामिल होने अरण्य भवन पहुंचे थे।