बाघों को गिनने में भारत में बना डाला कीर्तिमान, गिनीज वर्ल्ड में दर्ज होगा नाम, जानिए कैसे हुआ यह सब

नई दिल्ली। भारत में बाघों की गिनती करने में दुनिया में कीर्तिमान रच दिया है..। पूरे देश में कैमरे का जाल बिछा कर उसने जो काम कर दिखाय, वैसा अब तक दुनिया में कहीं नहीं हुआ.। इसके चलते गिनीज वर्ल्ड बुक में भारत का नाम दर्ज हो गया है। दुनिया भर में मनाए जाने वाले विश्व बाघ दिवस की पूर्व संध्या पर मंगलवार को केंद्रीय पर्यावरण और जलवायु परिवर्तन मंत्री प्रकाश जावड़ेकर इस रिकार्ड को भारत के लोगों के नाम समर्पित करेंगे।

भारत में सबसे बड़ा कैमरों का जाल बिछाकर गणना करने के इस अभूतपूर्व प्रयास को दुनिया में अपने आपकी पहली पहल के रूप में मान्यता दी गई है। कोरोना संक्रमण के चलते लाइव स्ट्रीमिंग के जरिए राष्ट्रीय मीडिया केंद्र, नई दिल्ली में आयोजित होने वाले कार्यक्रम को यूट्यूब पर लाइव देखा जा सकेगा।

इस आयोजन में देश भर से लगभग 500 प्रतिभागियों के शामिल होने की उम्मीद है। रूस के सेंट पीटर्सबर्ग में 2010 में बाघ क्षेत्र वाले देशों के शासनाध्यक्षों ने बाघ संरक्षण पर सेंट पीटर्सबर्ग घोषणा पर हस्ताक्षर किए थे। इसमें सभी देशों ने 2022 तक बाघ क्षेत्र की अपनी सीमा में बाघों की संख्या दोगुना करने का संकल्प लिया था।
इसी बैठक के दौरान ही दुनिया भर में 29 जुलाई को वैश्विक बाघ दिवस के रूप में मनाने का भी निर्णय लिया गया। तब से हर साल बाघ संरक्षण पर जागरूकता का सृजन करने और उसके प्रसार के लिए वैश्विक बाघ दिवस मनाया जा रहा है।

पिछले साल वैश्विक बाघ दिवस के अवसर पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने दुनिया के सामने तय समय से चार साल पहले ही बाघों की संख्या दोगुना करने के भारत के संकल्प को पूरा कर लेने की घोषणा की। भारत में अब दुनिया भर में रहने वाले बाघों की कुल संख्या का लगभग 70 फीसदी बाघ रहते हैं।

इस अवसर पर पर्यावरण मंत्री द्वारा बाघों पर नई वेबसाइट लांच की जाएगी, इसके अलावा राष्ट्रीय बाघ संरक्षण प्राधिकरण के आउटरीच जर्नल को भी जारी किया जाएगा।