छग के मजदूरों के खाते में जमा कराए 1,000 रु. और बाहर फंसे मजदूरों की चिंता करे सरकार : पूर्व सीएम रमन सिंह

रायपुर. देश में लॉकडाउन की अवधि 19 दिनों तक और बढ़ा दिए जाने के बाद छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री रमन सिंह ने मजदूरों को लेकर चिंता व्यक्त की है. उन्होंने प्रदेश के मजदूरों के साथ साथ बाहर फंसे छत्तीसगढ के मजदूरों की भी चिंता करने की मांग प्रदेश सरकार से की है। उन्होंने प्रदेश के सभी मजदूरों के खातों में एक-एक हजार रुपये जमा कराए जाने की मांग की. साथ जो मजदूर दूसरे राज्यों में फंसे हैं, उनके लिए भी खाने-पीने का प्रबंध करने की मांग की है।

उन्होंने कलेक्टर के माध्यम से खाद्य सामग्री के वितरण के आदेश पर सवाल उठाते हुए कहा कि क्या जिलाधीश पूरे देश का लाखों लोगों को दोनों समय के लिए भोजन और नाश्ते की व्यवस्था कर सकता है. मैंने राजनांदगांव में देखा है काफी लोग एसडीएम को फोन कर रहे है, लेकिन वे फोन नहीं उठाने को तैयार नहीं है.

डॉ. रमन सिंह ने कहा कि ए बड़ी चिंता है छत्तीसगढ़ में रह रहे बाहर के मजदूरों की मजदूरी को लेकर है. उन्होंने कहा कि कहीं चावल तो कहीं खाना दिया जा रहा है, लेकिन इससे जीवन नहीं चलता है. उनके साथ बच्चे और महिलाएं हैं उनकी बीमारी यदि होती है तो दवाई भी खरीदनी है.

डॉ. रमन सिंह ने कहा कि मैं मुख्यमंत्री को पत्र लिख रहा हूं कि कम से कम मजदूरों के खाते में 1000 रुपए ट्रांसफर करने की जरूरत है. आज तारीख तक कोई जवाब देने को तैयार नहीं है कि कितने लोगों को राशन दिया जा रहा है.

डॉ रमन सिंह ने कहा की न केवल मजदूरों की चिंता करें बल्कि जो लोग सैकड़ों की संख्या में गायब हो गए हैं जिनका कोई पता नहीं है. जिनका मरकज और निजामुद्दीन से कनेक्शन है. उनकी चिंता करने की जरुरत है. मुख्यमंत्री ने कह दिया कि छत्तीसगढ़ में अब  एक भी केस नहीं है. आप क्यों सर्टिफिकेट दे रहे हैं. इस काम को पुलिस के पीछे छोड़िए मुख्यमंत्री ने कह दिया तो प्रशासन की भूमिका यही शून्य हो जाती है.  यही अवसर है जब इंफ्रास्ट्रक्चर हेल्थ का मजबूत किया जा सकता है.